Sales funnel क्या है
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Prospect का मतलब है, वे संभावित लोग जो आपसे आपका प्रोडक्ट खरीद सकते हैं और sales funnel उन लोगो के नाम की लिस्ट जो आपसे आपका प्रोडक्ट या सर्विस्स खरीद सकते हैं।
Sales funnel को कई लोग prospecting funnel भी कहते हैं। सेल्स की लोकल भाषा में इसे लिस्ट बनाना कहते है।
किसी भी सेल्स कंपनी में सेल्समैन के रूप में जॉइन कर ट्रेनिंग लेने के बाद, एक सेल्समैन से जो सबसे पहला काम करने के लिए कहा जाता है, वह है sales funnel बनाने का काम। यानि की उन संभावित लोगो के नाम लिखना, जिन को जाकर यह सेल्समैन अपनी कंपनी के प्रोडक्ट के बारे में बताकर उसे बेचने का काम करने वाला है।
sales prospecting क्या है, prospecting funnel सेल्स में सफलता की पहली सीढ़ी क्यों है
Sales funnel में किन लोगो के नाम लिखें
अधिकतर सेल्समैन सिर्फ उन्हीं लोगो को अपनी sales funnel में जोड़ते है जिन्हें वे अपना प्रोडक्ट या सर्विसस बेच सकते है।
आज हम इस आर्टिकल में तीन प्रकार से या फिर कहें कि तीन sales funnel बनाना सीखेगें।
पहली sales funnel में उन लोगो के नाम जोड़ेगें जिन्हें आप जानते हो और उन्हें आप अपना प्रोडक्ट या सर्विसस बेच सकते है।
दूसरी sales funnel में उन लोगो के नाम जोड़ेगे जो directly तो हम से हमसे कुछ खरीदगे नहीं, लेकिन वे हमें उन लोगो के रिफरेंस दे सकते हैं जो हम से प्रोडक्ट या सर्विसस खरीद सकते है।
हम तीसरी sales funnel में अपरिचित लोगो को प्रोडक्ट बेचने की कोशिश करेगें। आप सोच रहे होगे कि अपरिचित लोगो को बेचने के लिए सेल्स फनल कैसे बनाई जाती है। यदि आप यह जानना चाहते है, तो पोस्ट को पूरा अवश्य पढ़े।
पहली sales funnel – जिनको आप जानते हो
आपकी जो सबसे पहली sales funnel होगी, वह होगी उन सब लोगो की, जिनको आप व्यक्तिगत रूप से जानते हो। इनमें आपके दोस्त, आपके पड़ोसी, आपके रिलेटिब्स, वह सब दुकान वाले जिनसे आप सामान खरीदते हो और उन्हें आप जानते हो।
एक बार अपने फोन के सभी कॉन्टेक्ट चेक कर लें, कौन उनमें आपके काम आयेगा। आप इन सब में से उन लोगो की लिस्ट बना लें जो आपका प्रोडक्ट खरीदने के लिए ऐलिजिवल हो।
आप यहॉ पर यह बिल्कुल न सोचे कि कौन प्रोडक्ट खरीद सकता है और कौन नहीं, आप सिर्फ इस बात का ध्यान दें कि वे आपकी कंपनी की पॉलिसी के आधार पर आपका प्रोडक्ट खरीदने के लिए एलिजिवल हों।
दूसरी sales funnel – जो आपको रिफरेंस दे सकते हों
आपकी sales funnel की दूसरी लिस्ट होगी, उन लोगो की जो आपसे आपका प्रोडक्ट तो नहीं खरीदेंगे बल्कि उन लोगो की जानकारी दे सकते हैं, जो आपसे आपका प्रोडक्ट खरीद सकते हैं। ये लोग हमें उन लोगो का रिफरेंस दे सकते हैं जो आपका प्रोडक्ट या सर्विस्स खरीद सकते हैं।
आप अपनी कंपनी से उन लोगों की लिस्ट निकलवा लें, जो पहले से ही आपकी कंपनी का प्रोडक्ट या फिर सर्विसस का उपयोग कर रहे हों। उनके पास जायें और कहें की आप उनकी कंपनी का प्रोडक्ट उपयोग कर रहे हैं। उसके फीडवैक के लिए व यह जानकारी लेने के लिए आप उनके पास आयें कि उनको कोई समस्या तो नहीं हो रही है।
आप पहले ही तैयार होकर जायें कि कोई कस्टमर, जो सालों से अपकी कंपनी का प्रोडक्ट उपयोग कर रहा है। अगर वह कुछ पूछे तो आप उसके सवालों के जवाब दे पायें। आप अपने सीनियर व ट्रेनर से अधिक से अधिक जानकारी लेकर जायें, कोई भी जानकारी आपके प्रोडक्ट से संबंधित छूटनी नहीं चाहिए।
जो सालों से आपकी कंपनी का प्रोडक्ट उपयोग कर रहा हो, और वह मानता हो कि उसे आपकी कंपनी के उस प्रोडक्ट के बारे में सब कुछ पता है। जब आप उससे मिलो, तो कम से कम एक, दो, या इससे अधिक जानकारी आप उसको फिर भी दे पाओ।
जो कस्टॉमर आपकी कंपनी के प्रोडक्ट या सर्विसस से खुश हैं, तो उनसे रिफरेंस यानि की लीड मॉगें, ऐसे लोग अवश्य ही रिफरेंस देते हैं। याद रखना रिफरेंस द्वारा मिला प्रोस्पेक्ट अक्सर माल खरीदता है।
जो कस्टॉमर आपकी कंपनी के किसी प्रोडक्ट या सर्विसस या फिर आपकी कंपनी के किसी कर्मचारी से नाराज हो और जब आप उससे मिलेंगे, तो यह हो सकता है कि वह आप पर चिल्लाये, आपकी कंपनी प्र्रोडक्ट आदि को फर्जी काहे या फिर गालियॉ भी दे सकता है।
इस समय आपको हाईपर या फिर डिमोटिवेट होने की जरूरत नहीं है। न ही आपको यह सोचकर अपमानित महसूस करना है कि यह व्यक्ति बतमीज है, इससे मुझे बात करने की जरूरत नहीं है। न ही आपको यह सोचकर डिमोटिवेट होने की जरूरत है कि आपकी कंपनी या प्र्रोडक्ट के बारे में लोग नेगिटिव हैं।
यह सोचों की अगर कंपनी ने जो प्रोडक्ट बनाया है, उससे अगर किसी कस्टमर का प्रोफिट नहीं बल्कि घाटा होता है, तो वह प्रोडक्ट मार्केट में होता ही नहीं।
एक गहरी सांस लें। यह सोचे कि हो सकता है कि इस व्यक्ति को उस प्रोडक्ट के उपयोग के बारे में ठीक से जानकारी नहीं है इसलिए उसे नुकसान हो रहा है।
आपको जो करना है, वह है उसे ध्यान से सुनना है। उसको यह पूछो कि उसे क्या नुकसान हो रहा है और फिर यह जानने की कोशिश करो कि कहॉ पर प्रोडक्ट को गलत उपयोग करने पर उसे नुकसान हो रहा है और फिर उसको सही जानकारी दो, उसे जो समस्या आ रही है, उसे सुलझाओ। उसे जो नुकसान हुआ है, अगर कुछ उसकी भरपाई हो सकती है, तो उसे जरूर करायें। अगर आप ऐसा करते हो, तो आप उसके दिमाग में एक अच्छी इमेज बना लेते हैं। फिर ऐेसे लोग आपको लीड देते हैं। जिससे आपकी सेल्स बढ़ सकती है। फिर से याद रखें रिफरेंस द्वारा मिले प्रोस्पेक्ट में से अधिकतर आपका प्रोडक्ट खरीदेगें।
एक दूसरे सेल्समैन से रिफरेंस ले व उन्हे दें। आप जिस फील्ड में हो, उससे जुडे दूसरे सेल्समैन से रिफरेंस लें व उन्हेंं दें। उदाहरण के तौर पर आप बैंकिंग के सैल्स में हो और आप एचडीएफसी बैंक में हो, और आपके किसी प्रोस्पेक्ट के पास पहले से ही एचडीएफसी का खाता हो, क्रेडिट कार्ड हो, और वह अब एक्सिस बैंक का क्रेडिट कार्ड चाहता हो, तो आप इस व्यक्ति का रिफरेंस किसी एक्सिस बैंक वाले सेल्समैन को दे सकते हो ।
ठीक ऐसा ही एक्सिस बैंक वाले या किसी अन्य बैंक वाले सेल्समैन के साथ हो सकता है कि उसका प्रोस्पेक्ट पहले से ही उसके बैंक की सर्विसस का उपयोग कर रहो हो, और उसे अब एचडीएफसी बैंक की सर्विसेस चाहिए, या फिर उसका प्रोस्पेक्ट उसके बैंक पॉलिसी के हिसाब से कोई सर्विसेस लेने के लिए एलिजिवल न हो, और आपके बैंक की पॉलिसी में एलिजिवल हो। ऐसे में यदि आपके उस बैंक वाले सैल्समैंन के साथ अच्छे संबंध है, तो वह इस प्रोस्पेक्ट का रिफरेंस आपको दे सकता है।
आप किसी भी फील्ड के सेल्समैन हो, अपनी जैसी कंपनियों के सेल्समैन से संपर्क करिये और दोनो की कंपनियों की पॉलिसी जानिये और उनमें अंतर भी जानिये और फिर आप एक दूसरे को रिफरेंस देकर अपनी सेल्स बढ़ा सकते हो।
प्रोस्पेक्टिंग के बारे में अधिक सीखने के लिए मोहित चौरसिया की किताब प्रोस्पेक्टिंग एंड क्लोजिंग पढ़े।
prospect तक पहॅुचने के लिए तीन पास का उपयोग करें
अब आप कहोगे कि यह तीन पास क्या है ?
सामान्य तौर पर हम सीधे प्रोस्पेक्ट तक पहुचते हैं। दूसरा हम रिफरेंस के जरिये प्रोस्पेक्ट तक पहॅुचे हैं । इनडारेक्ट रिफरेंस को ही हम पास कहेगें।
आप अपने पापा, चाचा, दोस्त या फिर किसी और के रिफरेंस से प्रोस्पेक्ट तक पहॅचते हैं। एक व्यक्ति की मद्द से हम प्रोस्पेक्ट तक पहॅुचते हैं, इसे हम रिफरेंस कहते हैं और इसे ही हम पहला पास भी कह सकते हैं क्योंकि यहॉ प्रोस्पेक्ट तक पहॅुचने में हमें केवल एक ही व्यक्ति की मद्द की जरूरत पड़ी।
दूसरा पास – आपका दोस्त, अपने पापा से आप के काम के बारे में बात करे और उसके पापा किसी प्रोस्पेक्ट का रिफरेंस दें। यहॉ आपका दोस्त और उसके पापा यानि कि दो लोगों की मदद से आप प्रोस्पेक्ट तक पहॅुचे, इसे दूसरा पास कहते हैं।
ऐसे ही कभी आपको प्र्रोस्पेक्ट तक पहॅुचने में तीन, चार या इससे भी अधिक लोगों का सहारा लेना पड़ सकता है।
तीसरी sales funnel – अपरिचित व्यक्ति को अपना प्रोस्पेक्ट बना कर प्रोडक्ट बेचने की कोशिश करना।
यहॅा पर हम अपरिचित व्यक्ति को अपना प्रोस्पेक्ट बना कर प्रोडक्ट बेचने की कोशिश करेगें।
उदाहरण के तौर पर डोर टू डोर मार्केटिंग, जिसमें एक सेल्समैन घर-घर या ऑफिस टू ऑफिस जाकर अपना प्रोडक्ट सैल करता है।
जहॉ ऐसे लोग आते हों, जो आपका प्रोडक्ट खरीद सके वहॉ अपनी कंपनी व प्रोडक्ट के बैनर, स्टेंडी या केनॉपी आदि लगाना या पेम्पलेट इत्यादि बॉटना। ये सभी सेल्स के तरीके डारेक्ट प्रोडक्ट सैल करने में आते हैं।
अब आप सोच रहे होंगें कि जब हम अपरिचित लोगो को अपना प्रोडक्ट बेचने की कोशिश करेंगें तो इसमें लिस्ट किसकी बनाना है या फिर sales funnel में क्या जोड़ना है ?
- यहॉ आपको यह लिस्ट बनानी है कि कब और कहॉ पर आपको कॉल्ड कॉलिंग करना है, कॅनोपी, बैनर आदि लगाना है। उदाहरण के तौर पर यदि आप किसी कॉलोनी में कॅनोपी या बैनर लगाना चाहते हैं तो सबसे पहले यह सुनिश्चित कर लें कि इस कॉलोनी के लोग आपका प्रोडक्ट खरीदने के लिए सक्षम हैं या नहीं । दूसरी उस कॉलोनी में उस जगह कॅनोपी लगायें जहॉ ज्यादा लोग आते हों, और तीसरी उस समय लगायें जिस समय लोग आते हों । जिससे की आपके समय का सदउपयोग हो सके।
- आप डाटा निकाल कर टैली कॉलिंग कर, उस पर लीड निकाल सकते हो।
- सोशल मिडिया का भी सहरा ले सकते हो, लीडस बनाने के लिए। आप अपने प्रोडक्ट से संबंधित पोस्ट डाल सकते हो। अपने प्रोडक्ट से बंधित लेख और उनके फायदे लिख कर सोशल मिडिया पर पोस्ट कर सकते हो। पर यह करने से पहले अपनी कंपनी से परमिशन अवश्य ले लें।
जितनी बड़ी और सटीक आपकी sales funnel होगी, उतनी अच्छी आपकी सेल्स होगी। इसलिए अपनी सेल्स फनल पर हर रोज काम करें। हर रोज इसे ध्यान से पढ़े और हर रोज इसमें नये नाम जोड़े।
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